हमें बच्चियों को,
मुस्कान देना चाहिए।
यहां हर दिन,
उत्सव सा माहौल,
रखना चाहिए।
यहीं हमारी बेटियों को,
सम्मान मिलेंगी।
सात आसमान पर पहुंचने का,
आधार बनेंगी।
ज़िन्दगी के दौर में,
यह एक सुंदर सलीका है।
यहीं बेटियों को उन्नत करने का,
खुबसूरत तरीका है।
यहां सुख और शांति से विचार जरूरी है।
बेटियों को लाडली बनाएं रखने के लिए,
आज़ हम सब की,
बन चुकी मजबूरी है।
यहीं प्रयास बेटियों को,
सम्मान दिलाएगी।
जीवन के हर रंग में,
उन्नत पहचान बनाएंगी।
आओ हम-सब मिलकर,
बेटियों की मुस्कान का,
उत्सव मनाएं।
लाड़ली लक्ष्मी उत्सव में,
सम्पूर्णता का रंग बिछाएं।

in कविता