Tag: क्षितिज से ही सौंदर्य के सूर्य का आविर्भाव हो

कोई बात नहीं

इन्सान तो गलतियों का पुतला ही है, गुण-दोष का समन्वित स्वरुप, जुदा–जुदा ख़्यालों ...